प्रोफेसर सुबोध झा की हास्य कविता, लड़की वो कुम्भवाली, "मोनालिसा"
प्रोफेसर सुबोध झा की हास्य कविता, लड़की वो कुम्भवाली, "मोनालिसा"
(हास्य-व्यंग्य), मोनालिसा
चले चाल मतवाली
बोल बड़ी दिलवाली,
आंखें कुछ मृगनयनी
लड़की वो कुम्भवाली।
होठों पर थी लाली
बोली मीठी वाली,
नैन बड़ी कजरारी,
लड़की वो कुम्भवाली।
लड़की वो भोली भाली
मानो मदिरा की प्याली,
पता नहीं किसकी साली,
लड़की वो कुम्भवाली।
वो माला बेचने वालीं
जो है बड़ी दिलवाली,
बातें मंत्रमुग्ध है करती,
लड़की वो कुम्भवाली।
कुदरत ने खेल दिखाया
फोटो वायरल करवाया,
सबकी चहेती मतवाली,
लड़की वो कुम्भवाली।
सुबोध झा
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